चंद्रचूड़ भैरव नामक आठ पूज्य भैरवों का निर्देश है। इनकी पूजा करके मध्य में नवशक्तियों की पूजा करने का विधान बताया गया है। शिवमहापुराण में भैरव को परमात्मा शंकर का ही पूर्णरूप बताते हुए लिखा गया है - श्री गणपति गुरु गौरी पद, प्रेम सहित धरि माथ । Raag Bhairav https://www.youtube.com/@tantramantraaurvigyaan